लखनऊ । बरेली के स्वर्ण आभूषण कारीगर ने चलती ट्रेन में अपनी ही गर्लफ्रेंड से अपना ही बैग चोरी करा दिया । बैग में 1400 ग्राम सोना व अन्य सामान रखा था। गर्लफ्रेंड बैग लेकर ट्रेन से उतर गयी तो कारीगर ने रेलवे हेल्पलाइन नंबर 139 पर जीआरपी को सूचना दी कि मेरा बैग चोरी हो गया है जिसमे 65 लाख का सोना व सामान रखा था । इसकी सूचना मिलते ही जीआरपी महकमे में हड़कम्प मच गया। जीआरपी एसपी पूजा यादव ने तत्काल टीम गठित की घटना की जांच आदेश दिये । जहां स्वर्ण आभूषण उसकी महिला मित्र व भांजा पकड़ा गया ।
जीआरपी एसपी पूजा यादव ने सोमवार को प्रेसवार्ता कर इस घटना का खुलासा किया उन्होंने बताया कि महिला मित्र की सैर कराने और अपना कर्जा निपटाने के लिए बरेली के स्वर्ण आभूषण कारीगर ने अपनी ही चोरी की घटना रच डाली। गर्लफ्रेंड को लखनऊ बुलाकर उसने चलती ट्रेन में अपना बैग को चोरी करवाया। बरेली पहुंचकर 65 लाख रुपये की कीमत का 1400 ग्राम सोना चोरी होने की एफआईआर कराई। जीआरपी ने जांच की तो उसके ही पास से 1400 ग्राम सोना बरामद होने के साथ स्वर्ण कारीगर, उसकी महिला मित्र और भांजे को गिरफ्तार किया गया।
बरेली के थाना किला सौदागरान मजार वाली गली निवासी विवेक कुमार रस्तोगी सोने के आभूषण की कारीगरी करता है। वह सर्राफा के लिए स्वर्ण आभूषण के काम करके उसके बदले सोना ही मेहनताना के रूप में लेता है। विवेक कुमार रस्तोगी 27 सितंबर को कुंभ एक्सप्रेस से बरेली से वाराणसी गया था। वहां एक धर्मशाला में ठहरकर उसने स्थानीय ज्वैलर्स से काम के बदले 1400 ग्राम सोना लिया। अगले दिन 29 सितंबर को ट्रेन संख्या 15933 न्यू तिनसुकिया अमृतसर एक्सप्रेस की एसी थर्ड बोगी बी-1 की बर्थ नंबर 29 पर रेल आरक्षण कराकर बरेली वापसी कर रहा था। घटना को सुनयोजित तरीके से स्वर्णकार विवेक कुमार रस्तोगी ने बरेली की भरतौल की रहने वाली अपने महिला मित्र लक्ष्मी यादव और बरेली के ही सुभाषनगर का रहने वाला अपने भांजे आशीष रस्तोगी को बोलेरो कार बुक कराकर बरेली से लखनऊ बुलाया। अमृतसर एक्सप्रेस के चारबाग पहुंचने से पहले ही उसकी महिला मित्र व भांजा चारबाग स्टेशन गये थे । ट्रेन लेट होने के कारण ट्रेन 29 सितंबर को तड़के लखनऊ पहुंची। ट्रेन के स्टेशन पर रुकते ही उसकी महिला मित्र लक्ष्मी भी विवेक के साथ ट्रेन से सवार हो गई जबकि भांजा आशीष बोलेरो के चालक रवि कश्यप के साथ आलमबाग यार्ड के आउटर पर पहुंच गया। प्लान के तहत ट्रेन के चलते ही विवेक अपना बैग सीट नंबर 36 पर रखकर शौचालय चला गया जबकि लक्ष्मी उसका 1400 ग्राम सोने वाला बैग लेकर उतर गई। विवेक ने 139 पर 1400 ग्राम सोना चोरी होने की सूचना दी। एसपी रेलवे पूजा यादव ने शाहजहांपुर में जीआरपी को भेजा लेकिन विवेक ने बरेली में मामला दर्ज कराने को कहा। एसपी रेलवे पूजा यादव ने दिल्ली से कोच की आरक्षण सूची मंगायी। उसमें दर्ज यात्रियों से पूछताछ की तो पता चला कि विवेक कुमार रस्तोगी अपनी 29 नंबर की जगह 36 नंबर की सीट पर बैग रखकर इधर उधर घूमता रहा। विवेक के दोनों मोबाइल नंबर बंद मिले, जबकि जो नंबर वह उपयोग कर रहा था वह तीनों सिम लक्ष्मी के नाम पर थे। एक टीम वाराणसी गई तो वहां ज्वैलर्स से सोना होने की पुष्टि हुई। एसपी रेलवे ने बताया कि सीओ जीआरपी संजीव सिन्हा के नेतृत्व में टीम ने सर्विलांस के जरिए विवेक को गिरफ्तार किया और उससे पूछताछ के बाद लक्ष्मी के पास से सोने की धातु को भी बरामद किया गया, साथ ही आशीष को पकड़ा । घटना का खुलासा करने वाली टीम को एसपी ने सराहना कर पुरस्कृत की ।
बरेली का स्वर्णकार बीते 29 सितंबर को अमृतसर एक्सप्रेस में दिया अंजाम

